नाटक का सफल प्रस्तुतिकरण और अभिनय कैसे हो।
१४ फरवरी २०१५ को ब्रैम्पटन की चिन्गूज़ी लाइब्रेरी के सभागार में हिन्दी राइटर्स गिल्ड की दो सत्रों में हुई मासिक गोष्ठी सफलता पूर्वक संपन्न हुई। यह बताते हुए बहुत खुशी हो रही है पहले सत्र में सावित्री थियेटर ग्रुप की संयुक्त निदेशिका, अभिनेत्री, लेखिका, नाट्य निदेशिका एवं कला निदेशिका श्रीमती जासमीन सावंत जी को आमंत्रित किया गया। उनके साथ उनके पति तथा मित्र भी थे। सबसे पहले गिल्ड के निदेशक विजय विक्रांत जी ने सुन्दर शब्दों में जासमीन जी का परिचय देते हुए पुष्प भेंट कर स्वागत किया। जासमीन जी ने नाटक के सफल प्रस्तुतिकरण और सफल अभिनय के महत्वपूर्ण पहलुओं पर रोशनी डाली। उन्होंने बताया कि एक सफल नाटक के लिए सशक्त पटकथा, किरदारों का चुनाव, नाटक के अनुसार साज-सज्जा, वेशभूषा का सही चुनाव होना जितना जरूरी है उतना ही अवश्यक है समय। जितना अधिक नाटक का अभ्यास किया जाएगा नाटक में उतना ही निखार आएगा। अनुशासन पर ज़ोर देते हुए उन्होंने कहा कि यदि पात्र समय का पाबंद नहीं है तो पात्र को स्वयं समझ लेना होगा कि वह नाटक के लिए बना ही नहीं। अभ्यास के लिए पर्याप्त स्थान का होना भी ज़रूरी बताया और यह कहते हुए अपनी बात को समाप्त किया कि पात्रों को कुछ ना कुछ मुआवज़ा अवश्य देना चाहिए इससे उन्हें अपनी महत्ता का भान होता है। जल-पान के लिए थोड़ी देर का एक ब्रेक लिया। सब ने मिल कर चाय, समोसे और बरफी का आन्नद लिया। गिल्ड की वरिष्ठ सदस्या कमलेश महंत जी ने अपने ७५वें जन्मदिन पर सब को मिठाई खिलाई और ढेरों बधाईयाँ बटोरीं। फिर उत्सुक श्रोताओं के प्रश्नों की बौछार हुई, जासमीन जी ने बाखूबी सभी प्रश्नों के उत्तर दिए। अंत में जासमीन जी ने हिन्दी राइटर्स गिल्ड के साथ मिलकर हिन्दी नाटक प्रस्तुत करने की इच्छा व्यक्त की जो गिल्ड के लिए बहुत गर्व की बात है। दूसरे सत्र में कविताओं का कार्यक्रम हुआ जिसकी प्रस्तुति का कार्यभार लता पांडे ने सम्भाला। काव्य-पाठ में भाग लेने वाले कवि-कावयित्रियों में थे डा० इन्दू रायज़ादा, कमलेश महंत, अजय गुप्ता, पूनम चन्द्रा मनु, संदीप कुमार, भुवनेश्वरी पांडे, स्नेह सिंघवी, कृष्णा वर्मा, लता पांडे।